उसको चैन नहीं मिलता ,मुझसे बात किए बिना
उसका दिन नहीं निकलता ,मेरी आवाज़ सुने बिना
मेरे हसने से पहले, वो मेरी नजर उतार देती हैं
मां हैं वो मेरी, हस्ते -हस्ते अपनी जां भी वार देती हैं।
मेरे करहाने से पहले, उसने मेरा हर दर्द समझा हैं,
मेरी बस एक आवाज़ से ,मेरे पूरे दिन का हाल जाना हैं,
मेरी हर गलती पर पर्दा डालती आई हैं वो,
पर उसका अहसास भी हमेशा कराया हैं।
आज उसकी एक कमी निकालने में,
मेरी रूह तक काप जाती हैं।
कभी मैंने उससे पूछा नहीं कि ,
तूने अपना हर रिश्ता इतने प्यार से कैसे निभाया है,
बिना किसी शर्त या वादे के,
आज,
आज जब वो वक़्त हैं, और वो मुझसे दूर,
तो रोज अपने हर सवाल के रूप में, कुछ वादे मांगती हैं
पर अब भी अपने लिए कुछ नहीं, बस मुझसे मेरा ध्यान मांगती हैं…..!